धर्म-कर्मराशिफल

*आज आपका राशिफल एवं प्रेरक प्रसंग -बूढ़ा और घोड़ा..*


*आज का पञ्चांग*

*दिनाँक:-30/03/2024, शनिवार*
*पंचमी, कृष्ण पक्ष,*
*चैत्र*
(समाप्ति काल)

तिथि———– पंचमी 21:13:09 तक
पक्ष————————- कृष्ण
नक्षत्र———अनुराधा 22:02:33
योग———— सिद्वि 22:44:47
करण———– कौलव 08:50:54
करण———– तैतुल 21:13:09
वार———————– शनिवार
माह————————– चैत्र
चन्द्र राशि—————- वृश्चिक
सूर्य राशि——————- मीन
रितु————————- वसंत
आयन—————— उत्तरायण
संवत्सर—————— शोभकृत
संवत्सर (उत्तर)—————– पिंगल
विक्रम संवत————— 2080
गुजराती संवत————– 2080
शक संवत——————1945
कलि संवत—————– 5124
सूर्योदय————— 06:12:51
सूर्यास्त—————- 18:34:31
दिन काल————- 12:21:39
रात्री काल————- 11:37:13
चंद्रास्त—————- 08:55:46
चंद्रोदय—————- 23:22:41
लग्न—- मीन 15°37′ , 345°37′
सूर्य नक्षत्र———- उत्तराभाद्रपदा
चन्द्र नक्षत्र—————- अनुराधा
नक्षत्र पाया——————- रजत

*🚩💮🚩 पद, चरण 🚩💮🚩*

नी—- अनुराधा 09:22:46

नू—- अनुराधा 15:43:43

ने—-अनुराधा 22:02:33

नो—- ज्येष्ठा 28:19:13

*💮🚩💮 ग्रह गोचर 💮🚩💮*

ग्रह =राशी , अंश ,नक्षत्र, पद
==========================
सूर्य= मीन 15:10, उ oभाo 4 ञ
चन्द्र=वृश्चिक 08:30 , अनुराधा 2 नी
बुध =मेष 02:53′ अश्विनी 1 चू
शु क्र= कुम्भ 28°05, पू o भाo ‘ 2 सो
मंगल=कुम्भ 11°30 ‘ शतभिषा’ 2 सा
गुरु=मेष 22°30 भरणी , 3 ले
शनि=कुम्भ 19°50 ‘ शतभिषा ,4 सू
राहू=(व) मीन 22°00 रेवती , 2 दो
केतु=(व) कन्या 22°00 हस्त , 4 ठ

*🚩💮🚩 शुभा$शुभ मुहूर्त 💮🚩💮*

राहू काल 09:18 – 10:51 अशुभ
यम घंटा 13:56 – 15:29 अशुभ
गुली काल 06:13 – 07: 46अशुभ
अभिजित 11:59 – 12:48 शुभ
दूर मुहूर्त 07:52 – 08:41 अशुभ
वर्ज्यम 27:54* – 29:34* अशुभ

🚩गंड मूल 22:03 – अहोरात्र अशुभ

💮चोघडिया, दिन
काल 06:13 – 07:46 अशुभ
शुभ 07:46 – 09:18 शुभ
रोग 09:18 – 10:51 अशुभ
उद्वेग 10:51 – 12:24 अशुभ
चर 12:24 – 13:56 शुभ
लाभ 13:56 – 15:29 शुभ
अमृत 15:29 – 17:02 शुभ
काल 17:02 – 18:35 अशुभ

🚩चोघडिया, रात
लाभ 18:35 – 20:02 शुभ
उद्वेग 20:02 – 21:29 अशुभ
शुभ 21:29 – 22:56 शुभ
अमृत 22:56 – 24:23* शुभ
चर 24:23* – 25:50* शुभ
रोग 25:50* – 27:17* अशुभ
काल 27:17* – 28:45* अशुभ
लाभ 28:45* – 30:12* शुभ

💮होरा, दिन
शनि 06:13 – 07:15
बृहस्पति 07:15 – 08:16
मंगल 08:16 – 09:18
सूर्य 09:18 – 10:20
शुक्र 10:20 – 11:22
बुध 11:22 – 12:24
चन्द्र 12:24 – 13:26
शनि 13:26 – 14:27
बृहस्पति 14:27 – 15:29
मंगल 15:29 – 16:31
सूर्य 16:31 – 17:33
शुक्र 17:33 – 18:35

🚩होरा, रात
बुध 18:35 – 19:33
चन्द्र 19:33 – 20:31
शनि 20:31 – 21:29
बृहस्पति 21:29 – 22:27
मंगल 22:27 – 23:25
सूर्य 23:25 – 24:23
शुक्र 24:23* – 25:21
बुध 25:21* – 26:19
चन्द्र 26:19* – 27:17
शनि 27:17* – 28:16
बृहस्पति 28:16* – 29:14
मंगल 29:14* – 30:12

*🚩 उदयलग्न प्रवेशकाल 🚩*

मीन > 04:38 से 06:04 तक
मेष > 06: 04 से 08:56 तक
वृषभ > 08:56 से 09:50 तक
मिथुन > 09:50 से 12:00 तक
कर्क > 12:00 से 14:26 तक
सिंह > 14:26 से 16:34 तक
कन्या > 16:34 से 18:50 तक
तुला > 18:50 से 20:40 तक
वृश्चिक > 20:40 से 23:04 तक
धनु > 23:04 से 01:04 तक
मकर > 01:04 से 03:06 तक
कुम्भ > 03:06 से 04:24 तक

*🚩विभिन्न शहरों का रेखांतर (समय)संस्कार*

(लगभग-वास्तविक समय के समीप)
दिल्ली +10मिनट——— जोधपुर -6 मिनट
जयपुर +5 मिनट—— अहमदाबाद-8 मिनट
कोटा +5 मिनट———— मुंबई-7 मिनट
लखनऊ +25 मिनट——–बीकानेर-5 मिनट
कोलकाता +54—–जैसलमेर -15 मिनट

*नोट*– दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है।
प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।
चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥
रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।
अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥
अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।
उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।
लाभ में व्यापार करें ।
रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।
काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।
अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।

*💮दिशा शूल ज्ञान————-पूर्व*
परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो लौंग अथवा कालीमिर्च खाके यात्रा कर सकते है l
इस मंत्र का उच्चारण करें-:
*शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l*
*भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll*

*🚩 अग्नि वास ज्ञान -:*
*यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,*
*चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।*
*दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,*
*नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।।* *महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्*
*नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।*

15 + 5 + 7 + 1 = 28 ÷ 4 = 0 शेष
मृत्यु लोक पर अग्नि वास हवन के लिए शुभ कारक है l

*🚩💮 ग्रह मुख आहुति ज्ञान 💮🚩*

सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है

गुरु ग्रह मुखहुति

*💮 शिव वास एवं फल -:*

20 + 20 + 5 = 45 ÷ 7 = 3 शेष

वृषभा रूढ़ = शुभ कारक

*🚩भद्रा वास एवं फल -:*

*स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।*
*मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।*

*💮🚩 विशेष जानकारी 🚩💮*

*राजस्थान राज्य स्थापना दिवस*

*श्री जयंती*

*अप्पा जी जोशी जयंती*

*💮🚩💮 शुभ विचार 💮🚩💮*

सत्यं माता पिता ज्ञानं धर्मो भ्राता दया सखा
शांतिः पत्नी क्षमा पुत्रः षडेते ममबान्धवाः ।।
।। चा o नी o।।

सत्य मेरी माता है. अध्यात्मिक ज्ञान मेरा पिता है. धर्माचरण मेरा बंधू है. दया मेरा मित्र है. भीतर की शांति मेरी पत्नी है. क्षमा मेरा पुत्र है. मेरे परिवार में ये छह लोग है.

*🚩💮🚩 सुभाषितानि 🚩💮🚩*

गीता -: ज्ञानकर्मसन्यास योग अo-04

यज्ज्ञात्वा न पुनर्मोहमेवं यास्यसि पाण्डव ।,
येन भुतान्यशेषेण द्रक्ष्यस्यात्मन्यथो मयि ॥,

जिसको जानकर फिर तू इस प्रकार मोह को नहीं प्राप्त होगा तथा हे अर्जुन! जिस ज्ञान द्वारा तू सम्पूर्ण भूतों को निःशेषभाव से पहले अपने में (गीता अध्याय 6 श्लोक 29 में देखना चाहिए।,) और पीछे मुझ सच्चिदानन्दघन परमात्मा में देखेगा।, (गीता अध्याय 6 श्लोक 30 में देखना चाहिए।,)॥,35॥

*💮🚩 दैनिक राशिफल 🚩💮*

देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।
नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।
विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।
जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।

🐏मेष
पार्टी व पिकनिक का कार्यक्रम बन सकता है। स्वादिष्ट व्यंजनों का आनंद प्राप्त होगा। विद्यार्थी वर्ग सफलता हासिल करेगा। कारोबार में वृद्धि होगी। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। नए विचार दिमाग में आएंगे। भाग्य का साथ मिलेगा। धनार्जन होगा।

🐂वृष
कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। काम में मन नहीं लगेगा। दूसरे आपसे अधिक की अपेक्षा करेंगे व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। दु:खद समाचार प्राप्त हो सकता है। वाणी में हल्के शब्दों के प्रयोग से बचें। क्रोध व उत्तेजना पर नियंत्रण रखें। पुराना रोग उभर सकता है।

👫मिथुन
प्रयास सफल रहेंगे। पराक्रम वृद्धि होगी। सामाजिक कार्य करने का अवसर प्राप्त होगा। मान-सम्मान मिलेगा। कारोबार में वृद्धि होगी। निवेश शुभ रहेगा। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। आय में वृद्धि होगी। जल्दबाजी न करें। प्रतिद्वंद्विता में वृद्धि होगी। लाभ होगा।

🦀कर्क
व्यवसाय ठीक चलेगा। आय में निश्चितता रहेगा।अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। विवाद से स्वाभिमान को ठेस पहुंच सकती है। पुराना रोग उभर सकता है। जोखिम व जमानत के कार्य टालें। किसी भी अपरिचित व्यक्ति की बातों में न आएं।

🐅सिंह
अप्रत्याशित लाभ हो सकता है। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। नौकरी में अधिकार वृद्धि हो सकती है। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। निवेश मनोनकूल रहेगा। घर-बाहर प्रसन्नता का वातावरण बनेगा। किसी कार्य के प्रति चिंता रहेगी। शारीरिक कष्ट संभव है।

🙍‍♀️कन्या
दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। घर में अतिथियों का आगमन होगा। प्रसन्नता तथा उत्साह बने रहेंगे। व्यापार-व्यवसाय मनोनुकूल लाभ देगा। आलस्य हावी रहेगा। प्रमाद न करें। विवेक का प्रयोग करें।

⚖️तुला
यात्रा में जल्दबाजी न करें। शारीरिक कष्ट संभव है। पुराना रोग उभर सकता है। वाहन व मशीनरी के प्रयोग में सावधानी रखें। हंसी-मजाक में हल्कापन न हो, ध्यान रखें। कीमती वस्तुएं इधर-उधर हो सकती हैं, संभालकर रखें। व्यापार-व्यवसाय ठीक चलेगा। आय में निश्चितता रहेगी।

🦂वृश्चिक
धर्म-कर्म में रुचि रहेगी। कोर्ट व कचहरी के काम मनोनुकूल लाभ देंगे। किसी बड़े काम की रुकावट दूर होगी। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। पारिवारिक सहयोग प्राप्त होगा। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। दूसरों के कार्य में हस्तक्षेप न करें।

🏹धनु
नई योजना बनेगी। कार्यप्रणाली में सुधार होगा। मान-सम्मान मिलेगा। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। व्यापार-व्यवसाय में मनोनुकूल लाभ होगा। शेयर मार्केट व म्युचुअल फंड इत्यादि से लाभ होगा। प्रेम-प्रसंग में जल्दबाजी न करें। थकान रहेगी। किसी कार्य की चिंता रहेगी।

🐊मकर
बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। नौकरी में अनुकूलता रहेगी। भाग्य का साथ मिलेगा। कोई बड़ा काम करने की इच्‍छा जागृत होगी। चिंता तथा तनाव बने रहेंगे। प्रमाद न करें।

🍯कुंभ
स्थायी संपत्ति के कार्य बड़ा लाभ दे सकते हैं। रोजगार में वृद्धि होगी। आय के नए साधन प्राप्त हो सकते हैं। भाग्योन्नति के प्रयास सफल रहेंगे। जीवन सुखमय व्यतीत होगा। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। स्वास्थ्य में राहत मिलेगी। चिंता दूर होगी। नौकरी में रुतबा बढ़ेगा।

🐟मीन
धनहानि की आशंका है। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। थकान व कमजोरी रह सकती है। व्यापार व व्यवसाय ठीक चलेगा। नौकरी में चैन रहेगा। यात्रा मनोरंजक रहेगी। प्रेम-प्रसंग में अनुकूलता रहेगी। राजकीय बाधा दूर होकर स्थिति अनुकूल बनेगी। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।

*🚩आपका दिन मंगलमय हो🚩*

*बूढ़ा और घोड़ा..*

एक गांव में एक गरीब बूढ़ा रहता था। वह बहुत गरीब था, फिर भी उनके पास एक सुंदर सफेद घोड़ा था। इसके कारण, राजा के लोग भी उनसे ईर्ष्या करते थे।

उसे उस सफेद घोड़े को बेचने के लिए राजा के तरफ से अच्छी कीमत दी गई थी। लेकिन बूढ़ा आदमी यह कहते हुए मना कर देता था, “यह मेरे लिए सिर्फ घोड़ा नहीं है। वह एक व्यक्ति और मेरा अच्छा दोस्त है। क्या आप किसी व्यक्ति या दोस्त को बेच सकते हैं। नहीं, यह हमारे लिए संभव नहीं है।”

एक दिन सुबह जब वह खलिहान घर में गया तो उसने देखा कि घोड़ा वहां नहीं है। यह खबर गांव में जल्दी फैल गई और पूरा गांव उनके घर पर जमा हो गया।

गांव वालों ने कहा, “तुम मूर्ख बूढ़े हो। हर कोई उस घोड़े को पाना चाहता था। सभी जानते थे कि किसी दिन यह घोड़ा चोरी हो जाएगा। आप उस घोड़े को अच्छी कीमत पर बेच सकते थे। फिर भी आपने उसे रखा। अब घोड़ा चला गया है, यह आपका दुर्भाग्य है।”

बूढ़े आदमी ने जवाब दिया, “सच तो यह है कि घोड़ा स्थिर नहीं है। बाकी सब कुछ जो तुम कहते हो वह एक फैसला है। आप कैसे जानते हैं यह दुर्भाग्य है या नहीं?”

लोगों ने जवाब दिया, “हमें मूर्ख मत बनाओ। आपका सफेद घोड़ा चला गया है, यह आपका दुर्भाग्य है।”

गांव के लोग उस पर हंसे और चले गए। उन्होंने कहा कि वह पागल है। वह उस घोड़े को बेच सकता था और गरीबी में जीने की वजह एक बेहतर जीवन जी सकता था।

कुछ दिनों के बाद, सफेद घोड़ा जंगल से वापस आया। उसके साथ कुछ और जंगली घोड़े भी आए।

गांव के लोग फिर उनके घर पर इकट्ठा हो गए और बोले, “आप सही थे, यह दुर्भाग्य नहीं बल्कि आशीर्वाद है। अब आपके पास और भी सुंदर घोड़े हैं। आप उन्हें प्रशिक्षित कर सकते हैं और बेच सकते हैं।”

बूढ़े ने उत्तर दिया, “फिर से आप बहुत दूर जा रहे हो। बस आप यह कहें कि घोड़ा वापस आ गया है और अधिक घोड़ों का होना एक आशीर्वाद है। यह केवल एक टुकड़ा है, एक दिन यह भी गुजर जाएगा।”

इस बार गांव के लोग चुप रहे। बूढ़े आदमी के इकलौते बेटे ने घोड़ों को प्रशिक्षित करना शुरू कर दिया। कुछ दिनों के बाद उन जंगली घोड़ों को प्रशिक्षण देने के दौरान, बूढ़े का बेटा घोड़े से गिर गया और उसके पैर टूट गया।

इस बात को सुनकर गांव के लोग इकट्ठे हो गए और बोले,“आप ठीक कह रहे थे,अधिक घोड़े होना कोई आशीर्वाद नहीं है।अब तुम्हारा बेटा इससे घायल हुआ है।इस बुढ़ापे में,अपने अपाहिज बेटे का क्या करोगे?”

बूढ़े ने उत्तर दिया,“इतनी दूर मत जाओ।इतना ही कहो कि मेरे बेटे की टांग टूट गई है।कौन जानता है कि यह दुर्भाग्य है या आशीर्वाद?किसी को नहीं मालूम।”

एक महीने बाद,युद्ध के कारण गांव के सभी युवाओं को सेना में भर्ती होने के लिए मजबूर होना पड़ा।इसीलिए युवाओं के माता-पिता और गांव के सभी लोग रो रहे थे।

गांव के लोग बूढ़े आदमी के पास आए और कहां,“हमारे बेटे हमेशा के लिए चले गए।आपके बेटे की चोट लगना वरदान साबित हुई है।कम से कम वह जिंदा है और आपके साथ रह रहा है।”

बूढ़े ने उत्तर दिया,“कोई नहीं जानता।इतना ही कहो,हमारे बेटे को सेना में भर्ती होने के लिए मजबूर किया गया और आपके बेटे को मजबूर नहीं किया गया।लेकिन कोई नहीं जानता यह आशीर्वाद है या दुर्भाग्य है।केवल भगवान जानता है।”

*हमें किसी भी स्थिति का न्याय केवल उसी से नहीं करना चाहिए,जो हम देखते हैं।हम कभी यह नहीं जानते कि आगे क्या होने वाला है..!!

Devbhumi jknews

जीवन में हमेशा सच बोलिए, ईमानदारी सर्वोत्तम नीति है!

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